अधिकारियों का आदेश कर्नलगंज पुलिस के आगे साबित हुआ बौना।
उपजिलाधिकारी कर्नलगंज और गोंडा पुलिस ने दिया था सीमांकन करवाने का आदेश।
अभी तक भी नहीं हुआ खेत का सीमांकन और पीड़ित को ही झेलना पड़ा मुकदमा।
प्रकरण में क्षेत्राधिकारी कर्नलगंज को मिली जांच।
गोंडा कर्नलगंज। थाना कर्नलगंज के ग्राम सभा मुंडेरवा में गन्ने की फसल को लेकर काफी दिनो से विवाद चल रहा था।उसी खेत के गन्ने को विपक्षी द्वारा काट लिया गया,जिसका पीड़ित पक्ष ने 25 नवंबर को कर्नलगंज थाने में एक तहरीर दी थी जिसकी सुनवाई कोतवाल द्वारा 8दिसंबर तक नही की गई विपक्षी द्वारा 9 दिसंबर को थाना दिवस में एक तहरीर दी गई जिसमे दोनो पक्षों को थाने में बुलाया गया और पीड़ित पक्ष को थाने में ही बैठा लिया गया जिसे देर शाम को छोड़ दिया गया।उसके बाद पीड़ित पक्ष ने उसी दिन खेत और एक चकमार्ग का पैमाइस करवाने के लिए उपजिलाधिकारी कर्नलगंज से आदेश करवाकर थाने पर फोर्स की मांग की थी जिसकी पैमाइस फोर्स के साथ 12/12/2023 को कराई गई जिसमे पीड़ित पक्ष का खेत कम था लेकिन विपक्षी पेशकार सिंह ने अपने खेत में नापी करवाने से मना कर दिया तब भी दोनो पक्षों को पुलिस द्वारा थाने पर ले जाकर कोतवाल कर्नलगंज ने अपने शब्दों द्वारा प्रताड़ित करते हुए सुलह करवाने का दबाव बनाकर जबरन सुलह लगवा लिया। थाने से निकलने के बाद पीड़ित पक्ष ने अपने ट्विटर के माध्यम से जबरन सुलह लगवाने का जिक्र करते हुए उच्च अधिकारियों को अवगत कराया।जिसमे गोंडा पुलिस द्वारा भी दूसरे दिन सीमांकन करवाने का रिप्लाई मिली लेकिन ये गोंडा पुलिस की रिप्लाई कर्नलगंज कोतवाल हेमंत कुमार गौड़ के आगे बौना साबित हुआ उन्होंने 112 से पहले भाई को उसके बाद फोर्स भेजकर पीड़ित के भतीजों को गाड़ी में बैठाकर खेत में कोतवाली से आई गाड़ी जिसमे हल्का दरोगा मिर्जा वाहिद बेग,हल्का सिपाही अरविंद राणा सहित कई सिपाही गाड़ी पर मौजूद रहे,गन्ना लदने के बाद भी पीड़ित के भतीजों को थाने पर ले जाकर देर शाम तक बैठाया गया।पीड़ित का भाई राम कुमार सिंह जो घर पर नही था जो पूरा दिन पुलिस अधीक्षक कार्यालय पर रहा उसका भी नाम मुकदमे में अंकित किया गया।